Short Story a monkey and sparrow

 

एक जंगल में एक बार काफी तेज बारिश हो रही थी उसमें ही एक #पेड़ पर एक #पक्षी (जिसकी चोंच चिंडिया की तरह थी)का घोंसला भी था। उसके सामने ही एक बंदर भी रहता था। उस समय बारिश के कारण वह भीग रहा था। उस पक्षी ने उसे कहा कि वह मनुष्य की तरह ही दिखता हैं। और उसका इतना सुदंर मुख हैं, और बड़ा #दिमाख वाला लगता हैं। तुम मेरे तरह क्यों नही #घोंसला बना लेते; ऐसे बारिश में क्यों भीग रहें हों। पर उस बंदर ने उसकी बात को सकरात्मक दृष्टि से देखने की जगह उसे गलत ही समझ लिया और उसने उसे गाली देते हुए कहा कि चीटी जैसे मुंह वालिए तूं हम जेसे साधों का मजाक बनाती हों मैं अपना घौंसलो तो बना नहीं सकता लेकिन तेरा जरूर तोड़ दुगा। यह कहकर उसने उसका घोंसला भी तोड़ दिया।
May be a cartoon of text 
 
कुछ लोग भी इस तरह के ही होते हैं हम उनके भले की ही बात कहते हैं लेकिन वह उसे दुसरे ही दृष्टिकोण से देखते हों ओर अपना भला करने की जगह हमारा ही बुरा कर देते हें।

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